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नवंबर, 2019 की पोस्ट दिखाई जा रही हैं

दिल्ली में संसद का शीतकालीन सत्र शुरू

18 नवम्बर को जब दिल्ली में संसद का शीतकालीन सत्र शुरू हुआ तो जवाहर लाल नेहरू यूनिवर्सिटी के कथित विद्यार्थियों ने सड़कों पर प्रदर्शन किया। कहा तो यही गया कि यह प्रदर्शन फीस वृद्धि के विरोध में है, लेकिन सुनियोजित प्रदर्शन से साफ जाहिर था कि यह प्रदर्शन किसी खास मकसद से किया गया है। सवाल यह नहीं है कि कथित विद्यार्थियों के आंदोलन के पीछे राजनीतिक दल खड़े हैं। बड़ा सवाल यह है कि यह आंदोलन देश के लिए घातक है। कथित विद्यार्थियों की आड़ में देश के खिलाफ साजिश की जा रही है। सब जानते हैं कि  इसी यूनिवर्सिटी से भारत तेरे टुकड़े होंगे, कश्मीर की आजादी को लेकर रहेंगे, जैसे देश विरोधी नारे लगे हैं। यानि इस आंदोलन के पीछे वे ताकते खड़ी हैं जो देश की एकता और अखंडता को तोडऩा चाहती है। फीस वृद्धि का तो एक बहाना है। असल में फीस वृद्धि की आड़ में कथित विद्यार्थियों को आगे कर दिया गया है। फीस वृद्धि का विरोध भी बेमानी है कि कन्हैया कुमार जैसे वामपंथी पिछले कई वर्षों से बेवजह है विद्यार्थी बने हुए हैं। मात्र 10 रुपए मासिक किराए में यूनिवर्सिटी के आलीशान छात्रावास में रह रहे हैं। यूनिवर्सिटी प्रशासन न...

मंत्रालय के सामने पार्क में होगी "राष्ट्रीय अखण्डता दिवस" शपथ

राष्ट्रीय अखण्डता दिवस पर 19 नवम्बर को मंत्रालय के समक्ष सरदार पटेल पार्क में सुबह 10.50 बजे शासकीय कर्मियों को शपथ दिलाई जाएगी। राज्य शासन के सभी विभागों के अपर मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव, सचिव, अपर सचिव, उप सचिव, अवर सचिव और विंध्याचल तथा सतपुड़ा भवन के शासकीय कार्यालयों के अधिकारी-कर्मचारी शामिल होंगे।

विधानसभा अध्यक्ष प्रजापति ने सांसदों, विधायकों के प्रकरणों की सुनवाई

नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव की अगुवाई में अभी से कमर कसते नजर आने लगे है। वहीं दूसरी ओर कांग्रेस भी इस बार पूरी तैयारी कर रही है ताकि हर मुद्दे पर जबरर्दस्त प्रत्युत्तर के माध्यम से विपक्ष के आरोप-प्रत्यारोपों की धार को न केवल कुंद कर दे अपितु उस पर अपनी बढ़त हासिल कर सके। जब यह सत्र आरंभ होगा उस समय तक कमल नाथ सरकार प्रदेश में एक साल का कार्यकाल लगभग पूरा कर लेगी। उसके हाथ में वचनपत्र पूरे करने की लम्बी-चौड़ी उपलब्धियों की फेहरिस्त होगी तो भाजपा विधायक वायदे पूरे न करने और अन्य ज्वलंत मुद्दों को लेकर पूरे लाव-लश्कर के साथ आक्रामक मुद्रा में नजर आएंगे, इसलिए विधायकों को अभी से तैयारी करने के लिए कह दिया गया है। विधानसभा अध्यक्ष नर्मदा प्रसाद प्रजापति द्वारा भाजपा विधायक प्रहलाद लोधी की सदस्यता रद्द करने और उसके बाद म.प्र. उच्च न्यायालय द्वारा उन्हें मिली सजा पर रोक लगाने के बाद से भाजपा इस मुद्दे को लेकर राज्यपाल लालजी टंडन के सामने उठा चुकी है तो वहीं पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने ऐलान किया है कि वे अपने साथ लोधी को विधानसभा सत्र में लेकर जायेंगे। इससे साफ होता है कि शीतकालीन सत्र को...